सब कुछ बीत जाने के बाद
बचा रहेगा प्रेम,
केलि के बाद शय्या में पड़ गई सलवटों सा
मृत्यु के बाद द्रव्य स्मरण सा
अश्वारोहियों से रौंदे जाने के बाद
हरियाली आढे डुबकी पडी धरती सा..
-अशोक वाजपेयी
Sunday, April 20, 2008
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